उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में रविवार को अलकायदा (Al-Qaeda) के दो आतंकियों की गिरफ्तार के बाद बिहार पुलिस मुख्यालय (Bihar Police Headquarters) ने सभी जिलों के पुलिस कप्तानों को अलर्ट जारी किया है. अपने आदेश में मुख्यालय ने जिलों के एसपी को सभी संवेदनशील और सीमावर्ती इलाकों पर पैनी नजर रखने को कहा है. जानकारी के अनुसार, सभी जिले के पुलिस अधीक्षकों को संवेदनशील जगहों पर नजर रखने के साथ-साथ सर्च ऑपरेशन भी चलाने का निर्देश दिया गया है.पुलिस मुख्यालय के वरीय अधिकारियों ने बातचीत के दौरान बताया कि बिहार पुलिस ऐसी घटनाओं को लेकर हमेशा अलर्ट रहती है. फिर भी पुलिस मुख्यालय के तरफ से सभी जिले के अधीक्षक को अलर्ट किया गया है. दरअसल केंद्रीय गृह मंत्रालय के निर्देशानुसार, अगर किसी राज्य में बम ब्लास्ट या आतंकी गतिविधि की सूचना प्राप्त होती है तो आसपास के राज्य भी अलर्ट हो जाते हैं. ऐसे भी बिहार कहीं ना कहीं आतंकियों के छिपने के लिए सेफ जोन माना जाता है. पहले भी कई आतंकियों को बिहार से गिरफ्तार किया गया है. सीमांचल और मिथिलांचल इलाके आतंकियों के पनाहगाह के रूप में जाना जाता रहा है.
दरअसल यूपी एटीएस ने लखनऊ के काकोरी रिंग रोड पर एक मकान में छापेमारी कर दो संदिग्धों को हिरासत में लिया गया है. पूछताछ के दौरान पता चला कि उनके निशाने पर उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ समेत कई नेता थे. आईबी, एटीएस और खुफिया एजेंसियां 3 संदिग्धों से लगातार पूछताछ कर रही है. हालांकि बिहार में हुए दरभंगा ब्लास्ट मामले के बाद बिहार एटीएस और बिहार पुलिस काफी एक्टिव भी दिख रही है. विगत दो दिन पहले भी राजधानी पटना के निजी होटल में एटीएस द्वारा मॉकड्रिल भी की थी. दरभंगा ब्लास्ट मामले में जहां दो आतंकी राजधानी पटना के बेउर जेल में बंद है. वहीं, एनआईए द्वारा दो आतंकियों को रिमांड पर लिए जाने के बाद आगे की पूछताछ के लिए रविवार की सुबह दिल्ली ले गई है. रेल एसपी ने विशेष अलर्ट भी जारी किया है. दरभंगा से ब्लास्ट के बाद रेल एसपी विकास वर्मन की ओर से पटना जंक्शन, दानापुर, पाटलिपुत्र, पटना साहिब समेत अन्य स्टेशनों पर जीआरपी को 24 घंटे चौकन्ना रहने का निर्देश दिया गया है. साथ ही साथ आने जाने वाली ट्रेन, प्लेटफार्म, पार्सल घर, सर्कुलेटिंग एरिया, टिकट काउंटर, वेटिंग हॉल सहित अन्य संवेदनशील जगहों की जांच और यात्रियों की तलाशी लेने का भी कड़ा निर्देश दिया गया है.