
PATNA : चुनाव आयोग ने कर्नाटक में एक चरण में 10 मई को मतदान करवाने की घोषणा कर दी है। राज्य की 224 विधानसभा सीटों के नतीजे 13 मई को आएंगे।
चुनाव आयोग के मुताबिक राज्य में कुल 5,21,73,579 वोटर हैं। कर्नाटक में 9.17 लाख नए वोटर जुड़े हैं।100 से ज्यादा उम्र के 16 हजार से ज्यादा मतदाता हैं। 80 साल से ज्यादा उम्र के वोटर घर से वोट कर सकेंगे।1 अप्रैल को जिनकी उम्र 18 साल हो रही है, वे भी वोट कर सकेंगे। 224 ऐसे बूथ बनाए गए हैं, जिनमें यूथ कर्मचारी तैनात रहेंगे।100 बूथों पर दिव्यांग कर्मचारी तैनात रहेंगे।
कर्नाटक विधानसभा चुनाव को 2024 लोकसभा चुनाव का सेमीफाइल माना जा रहा है। दक्षिण भारत में बीजेपी के सामने अपने एकलौते दुर्ग कर्नाटक की सत्ता को बचाए रखने के लिए चुनौती है तो कांग्रेस के लिए वापसी का चैलेंज है।बसवराज बोम्मई के सहारे बीजेपी अपनी सत्ता को बरकरार रखने की जद्दोजहद कर रही है, जबकि कांग्रेस डीके शिवकुमार-सिद्धरमैया की जोड़ी को आगे कर सत्ता में वापसी की कोशिश में लगी है तो जेडीएस कुमारस्वामी के दम पर किंगमेकर बनने का ख्वाब देख रही है।
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जेडीएस ने 2008, 2013 और 2018 के चुनावों के रिजल्ट देखें तो जेडीएस को खास आरक्षित सीटों पर जीत नहीं मिली थी। वहीं कांग्रेस और बीजेपी तीन सीटों के अंतर से कांटें की टक्कर पर थी। जितनी बार कांग्रेस ने सरकार बनाई, आरक्षित सीटों की संख्या के मामले में बीजेपी के मुकाबले उसका प्रदर्शन कहीं बेहतर रहा।
साल 2018 में कांग्रेस और जेडीएस ने मिलकर सरकार बनाई और एचडी कुमारस्वामी मुख्यमंत्री बने थे।करीब 14 महीने बाद ही कांग्रेस और जेडीएस की गठबंधन सरकार गिर गई। बीएस येदियुरप्पा ने कांग्रेस के बागी विधायकों की मदद से BJP की सरकार बनाई। हालांकि, 2 वर्ष बाद येदियुरप्पा को भी मुख्यमंत्री पद छोड़ना पड़ा. BJP के केंद्रीय नेतृत्व ने राज्य में सीएम बदलने का फैसला किया और बसवराज बोम्मई, बीएस येदियुरप्पा के उत्तराधिकारी चुने गए।